राजस्थान की राजनीति में पल पल नए उतार चढ़ाव आ रहे हैं। ताज़ा मिली जानकारी के अनुसार कांग्रेस के नेता एवं राजस्थान के पूर्व उप मुख्यमंत्री श्री सचिन पायलट ने अपने तेवर नरम करते हुए 10 अगस्त को दिल्ली में राहुल गांधी एवं प्रियंका गांधी से मुलाक़ात की है।
प्राप्त जानकारी के अनुसार पायलट की यह मुलाक़ात काफ़ी सकारात्मक रही तथा जल्द ही पायलट की कांग्रेस में सम्मानजनक वापसी हो सकती है।
सूत्रों के हवाले से मिली ख़बर के अनुसार पायलट ने राहुल गांधी के सामने राजस्थान का सियासी संकट ख़त्म करने के लिए तीन शर्तें रखी है ये शर्तें इस प्रकार है –
भविष्य में सचिन पायलट को मुख्यमंत्री बनाने की सार्वजनिक घोषणा की जाए।
यदि ऐसा नहीं होता है तो सचिन पायलट के खेमे से दो वरिष्ठ विधायकों को उप मुख्यमंत्री बनाया जाए तथा अन्य सभी विधायकों को भी अलग अलग बोर्डों तथा विभागों के अध्यक्ष के रूप में एडजस्ट किया जाए तथा सचिन पायलट को राष्ट्रीय कांग्रेस के महासचिव बनाकर दिल्ली रखा जाए।
राहुल गांधी द्वारा किए गए वादों को सार्वजनिक रूप से कांग्रेस के घोषणा पत्र में शामिल किया जाए जिससे कि सचिन पायलट की वापसी सम्मानजनक रूप से हो सके।
विदित रहे कि राजस्थान का सियासी संकट जुलाई के प्रथम सप्ताह से ही मैं सबके सामने सार्वजनिक रूप से आ गया है सचिन पायलट एवं अशोक गहलोत की जो अंदरूनी लड़ाई चलती थी वह सबके सामने आ गई तथा सचिन पायलट अपने कैंप के विधायकों के साथ गुड़गाँव के होटल में आ गए।
ऐसे में सचिन पायलट की आज राहुल गांधी से यह मुलाक़ात अब इस सियासी संकट के ख़त्म होने के संकेत दे रही है।